बल्कि 'घर' होते हैं ।
जीवन हमें बहुत कुछ सिखाता है ,
लेकिन सबसे ज़रुरी सबक यही है ,
कि असली दौलत पैसों में नहीं , बल्कि
उन रिश्तों में है जो हर मुश्किल में
हमारे साथ खड़े रहते हैं ।
अगर आज आपको किसी एक
ऐसे व्यक्ति को शुक्रिया कहने का मौका
मिले जो आपकी ज़िंदगी के हर मोड़ पर
आप के साथ खड़े रहे हैं ,
और आज भी खड़े हैं ।
तो वह कौन होगा ?
उन्हें टैग करें या उनके लिए एक शब्द कहें ।
याद रखें , प्यार , आभार , शुक्रिया
और धन्यवाद व्यक्त करने के लिए '
सही समय' का इंतज़ार न करें ।
वह समय आज और 'अभी' है ।
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